सातवां पहर/मुंगेली
ऐसी मान्यता है कि ब्रम्हकमल जिनके घर भी खिलता है वो बड़े ही भाग्यशाली होते हैं वही नगर से लगे ग्राम खेढा में गत दिवस की रात्रि स्वर्गीय श्री रामनाथ पांडेय के निवास में ब्रम्हकमल खिलने की सूचना मिली, देखते ही देखते ग्राम व मुंगेली नगर के लोग भारी उत्सुकता के साथ दर्शन लाभ लेने पहुचने लगे, वही पांडेय परिवार ने इसे अपना सौभाग्य बताया है।

समाजसेवी रोहित शुक्ला भी पहुचे दर्शन लाभ लेने
पेशे से समाजसेवी रोहित शुक्ला भी खबर मिलते ही दर्शन लाभ लेने खेढा पहुँच गए, उनकी माने तो ब्रम्हकमल जिनके घर खिलता है वे भाग्यशाली होते है इसके अलावा उन्होंने यह भी कहा कि इस फूल को न ही बेचा जाता है और न ही खरीदा, उपहार स्वरूप आदान-प्रदान करने की मान्यता पर आधारित होना बताया ।
और भी नामो से जाना जाता है यह पुष्प
जानकारों की माने तो उत्तरांचल में इसे ब्रम्हकमल,हिमांचल में दूधाकमल ,काश्मीर में गलगल और उत्तर – पश्चिमी भारत मे बर्गन डयगेस नाम से जाना जाता है।मान्यता है कि भगवान विष्णु की नाभि से निकला हुआ कमल ब्रम्हकमल कहलाता है,जिस पर ब्रम्हा जी विराजते हैं। ब्रम्हकमल माँ नंदा का प्रिय पुष्प है इसलिए इसे नंदाष्टमी के समय भी उपयोग किया जाता है।
स्वास्थ्य के लिए भी लाभकारी है ब्रम्हकमल
ब्रम्हकमल के अनेक महत्व हैं जिसमे प्रमुख रूप से इसे एक ओषधीय फूल माना गया है जिसे सुखाकर कैंसर जैसे गंभीर रोग की दवा बनाई जाती है, इससे निकलने वाले पानी को पीने से इम्यूनिटी पावर बढ़ता है, पुरानी खाँसी ठीक हो जाता है, यह फूल जिसके घर खिलता है, भाग्यशाली माना जाता है।